पौष्टिकता हेतु- सरसों का साग तथा मक्के की रोटी का सेवन करने वाले का शरीर पुष्ट होता है।
- दाँतों को स्वच्छ रखने हेतु- सरसो के तेल में थोड़ा-सा नमक मिलाकर उसके द्वारा दाँत साफ करने से वे मोती के समान चमकदार हो जाते हैं।
- मुख से दुर्गध दूर करने हेतु- थोड़े से सरसों के तेल में नमक मिलाकर मुख में भरने से तथा इससे जीभ, गाल के अन्दर का भाग, दाँत तथा मसूड़ों को साफ करने से मुख की दुर्गंध जाती रहती है।
- कान में कीड़ा घुस जाने पर - सरसों का तेल कान में 1-2 बूँद मात्रा ड़ालने पर नह कीड़ा फूलकर निकल जाता है।
- स्फूर्ति हेतु - संपूर्ण शरीर में सरसों के तेल की मालिश करके शीतल जल से स्नान करना चाहिए इससे शरीर में स्फूर्ति का संचार होता है।
- कान के स्वास्थ्य हेतु - जो व्यक्ति 4-5 दिन में एक बार अपने दोनों कानों में 1-2 बूँद सरसों का तेल डालता है। उसकी श्रवण शक्ति तीव्र होती है।